आफ्री तेरी नजर "साकी"तुने वाह क्या मय पिला दिया,
हाय रे मेरा दिल को बदहवास कर के दिवाने का नाम दे दिया,
मुसतन मुसाफिरर......📝
हाय रे मेरा दिल को बदहवास कर के दिवाने का नाम दे दिया,
मुसतन मुसाफिरर......📝
ये राहें ले जायेंगी मंज़िल तक.... हौसला रख ए मुसाफ़िर.... कभी सुना है क्या.... अंधेरे ने सवेरा होने ना दिया.....
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